उदयपुर, 10 फरवरी। पशुपालन प्रशिक्षण संस्थान में कृमि नियंत्रण दिवस के उपलक्ष्य में संगोष्ठी का आयोजन हुआ। उपनिदेशक डॉ. सुरेन्द्र छंगाणी ने कहा कि कृमि पशु की शारीरिक वृद्धि को रोकते हैं। पशु को कमजोर एवं उत्पादन क्षमता में भी अत्यधिक कमी कर देते है। इसके निवारण के लिए पशुओं में डिवर्मिंग करना नितांत आवश्यक है। अगर पशु स्वस्थ भी है एवं नियमित उत्पादन देता हो तब भी अपने पशुओं को तीन-चार माह में एक बार डिवर्मिंग की खुराक अवश्य देनी चाहिए। इसके बचाव हेतु पशु को स्वच्छ जल एवं आहार उपलब्ध कराना चाहिए। इस अवसर पर संस्थान के वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. पदमा मील, डॉ. ओमप्रकाश साहू के साथ पशुपालन डिप्लोमा कार्यक्रम के विद्यार्थियों ने भी विचार रखें।
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर संगोष्ठी
