बांसवाड़ा में सरकारी स्कूल के अध्यापक अपनी कार में जिंदा जले

सुबह अपनी अल्टो कार से स्कूल हुए थे रवाना, मुख्य सड़क से लगभग ढाई सौ मीटर अंदर झाड़ियों में जलती मिली कार
परिजनों का आरोप किसी ने उनकी हत्या की, पुलिस जांच में जुटी, एफएसएल टीम ने उठाए नमूने

उदयपुर, संवाद सूत्र। बांसवाड़ा जिले में शुक्रवार को दिल दलहाने वाली घटना सामने आई है। जिसमें सरकारी स्कूल के एक शिक्षक का जला हुए शव उनकी कार से बरामद हुए। कयास लगाए जा रहे हैं कि उनकी कार में आग लगी और वह जिंदा ही जल गए। जबकि परिजनों का आरोप है कि किसी ने उनकी हत्या की और कार में शव रखकर आग लगा दी।
बताया गया कि बांसवाड़ा शहर के कोतवाली क्षेत्र में मुख्य सड़क के अंदर ढाई सौ मीटर की दूरी पर झाड़ियों में जलती कार को देखकर लोगों ने पुलिस को सूचित किया था। जिस पर पुलिस और दमकल दल मौके पर पहुंची। दमकल ने आग पर काबू पाया। कार की अगले हिस्से में देखा तो सभी के हाथ—पैर फूल गए। चालक सीट पर बैठा व्यक्ति कंकाल में तब्दील हो चुका था। कयास लगाया गया कि कार में आग लगने पर उसका चालक बाहर नहीं निकल पाया और जिंदा ही जल गया।

फर्स्ट ग्रेड टीचर के रूप में हुई शव की पहचान
पुलिस ने कार के नंबर के आधार पर जांच की तो पता चला कि जो व्यक्ति जिंदा जला, कूल वह छोटी सरवन ब्लॉक के दनाक्षरी स्कूल में फर्स्ट ग्रेड के पालीटिकल साइंस टीचर मनोज कुमार का शव था। चालीस वर्षीय मनोज कुमार का भीमपुर क्षेत्र की मोहन कॉलोनी में घर था। परिजनों को बुलाया तो उन्होंने शव की पहचान की। शिक्षक की पत्नी भी मौके पर आई लेकिन परिजन उसे पति का शव देखने से रोक रहे थे। फूट—फूटकर रो रही पत्नी ने एक बार पति को देखने की जिद की तो उसने शव देखने दिया गया।

परिजनों ने हत्या कर शव जलाने की आशंका जताई
शिक्षक मनोज कुमार की पत्नी तथा परिजनों ने आशंका जताई कि मनोज की हत्या की गई और बाद में उनकी कार में आग लगा दी। उनका कहना था कि मनोज स्कूल के लिए निकले थे जो मुख्य सड़क पर पड़ता है। उन्हें सड़क के अंदर झाड़ियों में कार ले जाने की जरूरत ही नहीं थी। कहा जा रहा है कि किसी ने पहले उनका अपहरण किया और कार को निर्जन झाड़ियों में ले जाकर उनकी हत्या की और बाद में कार में आग लगाने के बाद फरार हो गए। पुलिस इस नजरिए से भी मामले की जांच में जुटी है।

लोगों ने कहा कार जलती देखी, यह नहीं पता था कि कोई उसमें बैठा भी था
कोतवाल रतन सिंह चौहान ने कहा कि आस-पास के लोगों ने कार के जलने की सूचना दी थी। फायर बिग्रेड के साथ मौके पर पहुंचे और आग को बुझवाया। मौके पर मौजूद लोगों का कहना था कि, झाड़ियों में अक्सर लोग आग लगा देते हैं। झाड़ियों के बीच जलती कार को देखा था, लेकिन पता नहीं था कि उसमें कोई बैठा भी है। आग बुझाने के बाद जब कार में जाकर देखा तो पता चला कि चालक सीट पर कोई व्यक्ति बैठा था और वह पूरी तरह जल गया। उसका दाहिना हाथ खिड़की पर टिका था, जबकि बायां हाथ ऊपर की ओर उठा हुआ था। कार की पिछली सीट पर उनका टिफिन भी रखा था। कार के अगले दो टायर फटे मिले। पिछले दो टायर सही थे। कार स्कूल रूट को छोड़कर झाड़ियों में मिली। ये जांच का विषय है। पुलिस सीसीटीवी फुटेज से मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही है।

कान के आपरेशन के चलते मेडिकल लीव पर थे और कई दिन बाद स्कूल जा रहे थे
शिक्षक के परिजनों ने बताया कि वह 1 नवम्बर से मेडिकल लीव पर थे। कान के आपरेशन के बाद पहली बार शुक्रवार को वह स्कूल के लिए निकले थे। कार स्कूल जाने वाले रतलाम हाई वे को छोड़कर 250 मीटर दूर कागदी पिकअप वियर के सूनसान इलाके की झाड़ियों के बीच मिली, जो संदेह पैदा करती है।

By Udaipurviews

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