दो हजार रुपए की रिश्वत लेने वाले गिरदावर को तीन साल की सजा

उदयपुर, 21 अक्टूबर : कोर्ट ने दो हजार रुपए की रिश्वत लेने के आरोप में दोषी पाए जाने पर तत्कालीन भू अभिलेख निरीक्षक को तीन साल की सजा सुनाई। मामले की जानकारी देते हुए विशिष्ट लोक अभियोजक राजेश पारीक ने बताया कि भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की चित्तौड़गढ़ इकाई को 17 फरवरी 2006 में परिवादी शिवलाल लोहार ने रिपोर्ट दी कि उसके पिता कन्हैयालाल लोहार की 5 साल पहले मौत हो गई थी। इसलिए उसके पिताजी की मृत्यु के बाद उसकी कृषि भूमि का इंतकाल खुलवाना था, जिसके लिए प्रार्थी ने जावदा नीमड़ी सर्कल के गिरदावर राजमल मोची से मुलाकात की। राजमल ने इसके लिए दो हजार रुपए की रिश्वत मांगी। प्रार्थी की रिपोर्ट पर एसीबी की चित्तौड़गढ़ इकाई ने आरोपी को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया। मामले की पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता राजेश पारीक ने आरोपी का दोष सिद्ध करने के लिए 16 गवाह, 30 दस्तावेज तथा 11 आर्टिकल पेश किए। दोष सिद्ध होने पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम, न्यायालय संख्या—1 के विशिष्ट न्यायाधीश मनीष अग्रवाल ने आरोपी राजमल पुत्र हीरामल मोची (65) निवासी बड़ी सादड़ी चित्तौड़गढ़ तत्कालीन भू अभिलेख निरीक्षक जावदा चित्तौड़गढ़ को तीन साल के साधारण कारावास और बीस हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।

By Udaipurviews

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