उदयपुर। जनार्दन राय नागर राजस्थान विद्यापीठ में बसंत पंचमी का उत्सव बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया। कुलपति कर्नल प्रो एसएस सारंगदेवोत कुलप्रमुख भंवर लाल गुर्जर द्वारा मां सरस्वती माता की पूजा अर्चना कर आरती की गई।
कुलपति प्रोफेसर सारंग दिवस में बसंत पंचमी मनाने का उद्देश्य और महत्व बताते हुए कहा कि हर वर्ष माघ महीने में शुक्ल पक्ष की पांचवी तिथि को बसंत पंचमी मनाई जाती है. यह दिन विद्या की देवी मां सरस्वती जन्मोत्सव के रूप में पूजा अर्चना के लिए समर्पित होता है । उन्होंने कहा कि जब ब्रह्माजी ने देवी सरस्वती को प्रकट किया, तो वसंत ऋतु का आगमन हुआ. इसलिए, बसंत पंचमी को देवी सरस्वती के प्राकट्य दिवस के रूप में भी मान्यता है.। बसंत पंचमी का त्योहार ज्ञान, विद्या और कला के महत्व को दर्शाता है
इस अवसर पर कुल प्रमुख भंवर लाल गुर्जर ने सभी को बसंत पंचमी की शुभकामना देते हुए कहा कि बसंत पंचमी के दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में स्नान करने के बाद पीले वस्त्र धारण करना शुभ होता है। पूजा के दौरान पीले फूल और पीले मिष्ठान का भोग मां को प्रसन्न करता है।
इस अवसर पर डॉ सरोज गर्ग, डॉ राजेंद्र सिंह डॉक्टर बलिदान जैन डॉक्टर अमी राठौड़ डॉ रचना राठौर डॉक्टर सुनीता मौर्य डॉक्टर अपर्णा श्रीवास्तव डॉक्टर एजाज हुसैन डॉक्टर रोहित कुमावत डॉक्टर सुभाष महेंद्र वर्मा डॉक्टर तिलकेश अमित डॉक्टर रेखा कुमावत के साथ छात्र छात्राएं उपस्थित रहे।