डीए के तत्कालीन सचिव नितेंद्रपाल व अन्य अधिकारियों के खिलाफ हो कार्रवाई

-यूडीए में 1000 करोड़ के घोटाले की जांच को लेकर सांसद डॉ. रावत ने सीएम को लिखा पत्र

-12 पेज की तथ्यात्मक लेखा अंकेक्षण रिपोर्ट भी भेजी

-राजेश वर्मा
उदयपुर, 25 फरवरी। सांसद मन्नालाल रावत ने उदयपुर विकास प्रन्यास (यूडीए) में करीब एक हजार करोड के घोटाले में शामिल तत्कालीन सचिव नितेन्द्रपाल सिंह तथा अन्य अधिकारियों के खिलाफ कड़ी अनुशासनत्मक कार्रवाई को लेकर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को पत्र लिखा है। इस मामले में रिपोर्ट भी पत्र के साथ भेजी गई है।

सांसद डॉ. रावत ने सूत्रों का हवाला देते हुए बताया कि यूडीए की वर्ष 2022-24 के लेखा अंकेक्षण प्रतिवेदन, तथ्यात्मक रिपोर्ट विभिन्न मीडिया रिपोर्ट के अनुसार यूडीए के अधिकारियों ने लगभग 1000 करोड़ से अधिक का घोटाला किया है एवं नियमों के विरुद्ध कई प्लानिंग की अनुमति दी है। इस संबंध में स्थानीय निधि अंकेक्षण विभाग उदयपुर ने जारी अंकेक्षण रिपोर्ट के संबंध में यूडीए आयुक्त सहित कई अधिकारियों ने रिपोर्ट का सारांश जारी करते हुए सरकार को प्रतिवेदन प्रस्तुत किया है कि संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाए एवं विस्तृत अंकेक्षण रिपोर्ट भी तैयार की जाए, परन्तु अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

सांसद ने बताया कि उन्हें जानकारी मिली है कि सबसे अधिक राजस्व हानि पहुंचाने वाले तत्कालीन सचिव नितेंद्रसिंह की सेवानिवृत्ति इस माह के अंत में होने से तत्काल उनके विरुद्ध 16 सीसीए के तहत चार्जशीट देते हुए अनुशासनत्मक कार्रवाई प्रस्तावित किए जाने के आदेश कराएं ताकि संपूर्ण प्रशासन में अच्छा संदेश जाए। सांसद रावत ने यूडीए आयुक्त द्वारा प्रमुख शासन सचिव, नगरीय विकास एवं आवासन विभाग को भेजी गई यूडीए के वर्ष 2022-2024 के लेखों के अंकेक्षण प्रतिवेदन की तथ्यात्मक रिपोर्ट भी संलग्न की है जिसमें बताया गया है कि प्लान अनुमोदन, आवंटन पत्र एवं लीजडीड जारी करने में नियमों के उल्लघंन, वित्तीय अनियमितता एवं राजस्व की हानि के आक्षेप प्राप्त हुए है।

सांसद रावत ने बताया कि आयुक्त द्वारा उच्चाधिकारी को भेजी ऑडिट रिपोर्ट के अनुसार तत्कालीन सचिव नितेन्द्र पाल सिंह, तत्कालीन सचिव राजेश जोशी, तत्कालीन उप नगर नियोजक श्रीमती ऋतु शर्मा एवं तत्कालीन विशेषाधिकारी सावन कुमार चायल की गंभीर एवं नियम विरूद्ध लापरवाही से भू-व्यवसाईओं को  676.25 करोड रुपए का अनाधिकृत एवं अवांछित लाभ दिया गया एवं राज्य सरकार को राजस्व की भारी हानि पहुंचाने के गंभीर आरोप प्रथम दृष्टया एवं तथ्यात्मक रिपोर्ट अनुसार उचित प्रतीत होते है। आयुक्त ने भी इस मामले में उच्चाधिकारी को भेजे पत्र में विभागीय उच्च स्तर की टीम द्वारा वर्ष 2022-24 में अनियमित रूप से अनुमोदित किये गये प्लानों की एवं गंभीर वित्तीय अनियमितताओं की गहन जांच करवाने की मांग की है। हालांकि इस संबंध में अभी तक कोई कार्रवाई होना चिंताजनक है। सांसद रावत ने इस बडे घोटाले को गंभीरता से लेकर तत्काल जांच करवाने की मांग की है।

By Udaipurviews

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