-एसई ऑफिस के बाहर धरने पर बैठ आक्रोशित लोगों
– जईएन के खिलाफ करवाही की मांग
डूंगरपुर, 15जून (ब्यूरो)जिले शहर के महारावल स्कूल के पास रखरखाव काम कर रहें लाइनमेन की जईएन की लापरवाही के चलते मौत हो गई। जईएन स्वाति रोत ने लाइन शुरू कर दी। जिसे की लाइन को करंट लग गया उसकी मौत हो गई। लाइन मेन की मौत से अक्रोशित पाटीदार समाज के लोगों ने एसई दस्तर के बाहर पहुंचे एसई हरिराम कालेर का घेराव कर हंगामा किया है। परिजनों ने विभाग के की जईयन लापरवाही का आरोप लगाया है। वहीं, मृतक के परिवार को आर्थिक सहयोग दिलाने की मांग की है।
एसई का घेराव कर किया हंगामा –धनेश्वर फीडर शनिवार को सुबह 8बजे से दोपहर 12 बजे तक शट डाउन ले रखा था। 12.30 बजे लाइन शुरू कर दी गई थी। इसके बाद 3 बजे के पास वापस शट डाउन लेकर लाइनमेन सुरपुर निवासी वियानक पाटीदार महारावल स्कूल के पास पोल पर चढ़े था। तभी जईयन स्वाति रोत ने डीमिया लाइन का शुरू कर दी। धनेश्वर और डिमडिया लाइन आस पास के जिसके चलते वियानाक को करंट लग गया और पोल से अवैध रूप से केबिन लगा रखा था। इसे लाइनमेन के शरीर में पतरा घुस गया और वो गंभीर घायल हो गया। जिसके के बाद उसे डूंगरपुर अस्पताल में भर्ती करवाया। जहां डॉक्टरों ने उसकी जांच कर उसे मृत घोषित कर दिया। घटना की सूचना मिलने के बाद अक्रोषित परिजन अस्पताल पहुंचे। परिजनों ने जेईएन स्वाति रोत पर बिना सूचना लाइन शुरू करने के आरोप लगाए। घटना के बाद पर अस्पताल चीख पुकार से गूंज उठा। उधर, अक्रोषित समाज के लोगों एसई ऑफिस के अंदर पहुंचे जहां हंगामा कर दिया। हंगामे की सूचना मिलने के बाद एसई हरिराम कालेर ऑफिस पहुंचे। इस पर अक्रोशित समाज के लोगों एसई को घेर कर एईएन और जेईएन को ऑफिस बुलाने की मांग पर अड़ गए। वहीं, मृतक लाइन मेन के चाचा गोकुल पाटीदार ने मृतक के परिवार को आर्थिक सहायता दिलवाने और एईएन और जेईएन के खिलाफ़ जांच करने की मांग की है।
जेईएन मौके पर नहीं, सीधी ऑफिस से लाइन की शुरू –नियम के अनुसार जब भी शट डाउन लिया जाता है। तब मौके पर जेईएन होना जरूरी होता है। लेकीन स्वाती रोत मौके पर नहीं थी। जेईएन बिना लाइनमेन बात किए डिमिया फीडर शुरू कर दिया। डिमिया लाइन और धनेश्वर लाइन आस पास से गुजरती हैं। ऐसे में डिमिया लाइन शुरू होने करंट लाइनमेन को लग गया। पूर्व तीन महीने पहले भी जेईएन की लापरवाही के चलते लाइन शुरू करने से हथाई लाइनमेन की मौत हो गई थी। परिजन जेईएन स्वाती रोत को अस्पताल बुलाने की मांग पर अड़े रहे है। लेकिन स्वाती रोत अस्पताल नही पहुंची।
लालन पालन करने वाला घर एकमात्र चिराग बुझा –मृतक विनायक पाटीदार के घर उसकी पत्नी, बूढ़ी मां और एक 7 साल का बेटा। उसके पिता नरेंद्र पाटीदार की हार्ट अटैक से मौत हो चुकी है। पिता भी बिजली विभाग में लाइनमेन थे। उनकी मौत होने के बाद विनायक अनुकंपा योजना में उनकी जगह नौकरी पर लगा था।